जियो से एयरटेल के कनेक्शन पर कॉल ड्रॉप की समस्या अब दूर होने वाली है। एयरटेल ने जियो को ज्यादा इंटरकनेक्ट प्वाइंट मुहैया कराने का फैसला किया है। एयरटेल के मुताबिक, ताजा फैसले के बाद इंटरकनेक्ट प्वाइंट की संख्या मौजूदा क्षमता से तीन गुना बढ़ा दी जाएगी। ये 1.5 करोड़ ग्राहकों को सेवा मुहैया कराने के लिए पर्याप्त है।
एयरटेल ने अपने बयान में कहा, “एयरटेल एक जिम्मेदार संगठन है। ये कायदे-कानून का ही नहीं इंटरकनेक्ट समझौते का भी पूरी तरह से पालन करती है और करती रहेगी,” कंपनी का ये भी कहना है कि ज्यादा संख्या में इंटरकनेक्ट प्वाइंट जारी करने के साथ एयरटेल के नेटवर्क पर जियो से किए गए कॉल की भारी संख्या पर गौर करना होगा। साथ ही एय़रटेल के ग्राहकों के लिए सेवा की गुणवत्ता पर कोई असर नहीं पड़े।
जियो की सेवाएं 5 सितम्बर से शुरु हुई है जिसमें वेलकम ऑफर के तहत 31 दिसम्बर तक सभी वॉयस कॉल सहित डेटा भी मुफ्त मिलेगा। बाकी टेलिकॉम कंपनियों का कहना है कि मुफ्त में दी गयी सेवा को व्यावसायिक नहीं माना जा सकता। साथ ही मुफ्त सेवा से जियो के कनेक्शन से की गयी कॉल की संख्या बेतहाशा बढ़ जाएगी जिससे उनके नेटवर्क पर दवाब बढ़ेगा।
क्या होता है इंटरकनेक्ट प्वाइंट?
इंटरकनेक्ट प्वाइंट या पीओआई दरअसल वो माध्यम है जिसके जरिए दो मोबाइल नेटवर्क पर कॉल पूरी होती है। इंटरकनेक्ट प्वाइंट के जरिए ही मोबाइल से की गयी कॉल पूरी हो पाती है। अगर किसी टेलिकॉम ऑपरेटर को दूसरे टेलिकॉम ऑपरेटर पर्याप्त संख्या में इंटरकनेक्ट प्वाइंट मुहैया नहीं कराते हैं तो पहले टेलिकॉम ऑपरेटर के ग्राहक के लिए कॉल पूरा करना संभव नहीं होता और फिर कॉल ड्रॉप की समस्या आती है।