सुप्रीम कोर्ट: ईस्टर्न एक्सप्रेस के उद्घाटन में देरी को लेकर कोर्ट ने कहा- 1 जून से आम जनता के लिए खोले: सुप्रीम सोमवार को ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस-वे उद्घाटन में देरी को लेकर नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा की इसके उद्घाटन के लिए पीएम इंतजार क्यों | सुप्रीम कोर्ट ने आदेश जारी करते हुए कहा की इस महीने के अंत तक अगर पीएम उद्घाटन करते है तो ठीक नहीं तो इसे 1 जून से आम जनता के लिए खोल दिया जाए|
जस्टिस मदन बी लोकुर और जस्टिस दीपक गुप्ता की बेंच ने कहा कि मीडिया रिपोर्ट्स में यह बात सामने आई है कि पीएम के पास इस समय उद्घाटन के लिए समय नहीं है। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि PM को 29 अप्रैल को इसका उद्घाटन करना था लेकिन वो नहीं कर पाए। एनएचएआई से सवाल करते हुए अदालत ने कहा कि यदि प्रधानमंत्री इसका उद्धाटन नहीं कर पा रहे हैं तो आप क्यों नहीं कर देते? आप लोगों ने भी तो इसमें मेहनत की है। आप एएसजी से भी उद्घाटन कार्य करवा सकते हैं।
कोर्ट ने मेघालय के उदाहरण देते हुए कहा की वहां पिछले पांच साल से अदालत काम कर रही है लेकिन आजतक उसका उद्घाटन नहीं हुआ| सुप्रीम ोकर्त ने कहा की एक्सप्रेस-वे के उद्घाटन में देरी आम जनता के लिए नुकसानदायक है| ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस-वे के चालू होने से दिल्ली पर ट्रैफिक का बढ़ता हुआ बोझ काफी कम हो जाएगा|
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पत्र सूचना कार्यालय की वेबसाइट के मुताबिक, ‘एनएच-2 (पलवल के नजदीक) समाप्त होने वाले ईस्टर्न पेरीफेरल (पूर्वी परिधीय) एक्सप्रेसवे (ईपीई) और वेस्टर्न पेरीफेरल (पश्चिमी परिधीय) एक्सप्रेसवे (डब्ल्यूपीई) की दिल्ली के आसपास की पेरीफेरल एक्सप्रेसवे परियोजना का उद्देश्य दिल्ली को बाईपास कर यहां की भीड़भाड़ को कम करना और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में बढ़ते प्रदूषण के स्तर को कम करना है। ईपीई भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) द्वारा जबकि डब्ल्यूपीई हरियाणा सरकार द्वारा विकसित किया जा रहा है। इनमें से प्रत्येक एक्सप्रेस वे 135 किलोमीटर लंबा है और ये दिल्ली के लिए 270 किलोमीटर के बाहरी मुद्रिका सड़क से मिलती हैं।’